समलैंगिक विवाह को 34 देशों में मान्यता, 22 देशों में कानूनी तौर पर स्वीकृति, 64 देशों में मृत्युदंड का प्रावधान

समलैंगिक विवाह को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को फैसला सुनाया, जिसमें कोर्ट ने समलैंगिक विवाह को कानूनी मन्यता देने…

समलैंगिक विवाह

समलैंगिक विवाह को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को फैसला सुनाया, जिसमें कोर्ट ने समलैंगिक विवाह को कानूनी मन्यता देने से इनकार कर दिया। याचिकाकर्ताओं ने विवाह को कानूनी मान्यता दिए जाने को लेकर मांग की थी। क्या आपको पता है दुनिया के 34 देशों में समलैंगिक विवाह को मान्यता दी गई है और 23 देश ऐसे हैं, जहां समलैंगिक विवाहों को कानूनी तौर पर मान्यता प्राप्त है और इनमें से 10 देशों में कोर्ट के जरिए फैसला आया है।

34 देशों में समलैंगिक विवाह को मान्यता

दुनिया के 34 देशों में समलैंगिक विवाह को मान्यता दी गई है, जिसमें चिली, स्विट्जरलैंड, कोस्टारिका, क्यूबा, एंडोरा, स्लोवेनिया, इक्वेडोर, बेल्जियम, ब्रिटेन, ऑस्ट्रिया, फ्रांस, जर्मनी, आइसलैंड, आयरलैंड, लक्समबर्ग, ऑस्ट्रेलिया, ताइवान, कोलंबिया, ब्राजील, अर्जेंटीना, कनाडा, माल्टा, नॉर्वे, पुर्तगाल, स्पेन, स्वीडन, डेनमार्क, फिनलैंड, फ्रांस, मेक्सिको, दक्षिण अफ्रीका, संयुक्त राज्य अमेरिका, नीदरलैंड, न्यूजीलैंड और उरुग्वे का नाम शामिल है। इन देशों में दुनिया की 17 फीसदी आबादी रहती है, जिनमें से एलोरा, क्यूबा और स्लोवेनिया इन तीन देशों ने पिछले साल ही वैध किया है।

22 देशों में कानूनी तौर पर स्वीकृति

सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ ने 2018 में सेम सेक्स रिलेशनशिप को अपराध की श्रेणी से बाहर करने का फैसला दिया था, हालांकि अभी तक समलैंगिक विवाह को कानूनी मान्यता प्राप्त नहीं मिला है। तब आईपीसी की धारा 377 के तहत सेम सेक्स रिलेशनशिप संबंधों को अपराध माना जाता था। वहीं 33 ऐसे देश हैं, जहां समलैंगिक विवाह को मान्यता दी गई है। लेकिन इनमें से कई देशों में कोर्ट ने सेम सेक्स मैरिज को मान्यता दी हैं। इसके अलावा 22 देश ऐसे हैं जहां कानून बनाकर स्वीकृति मिली है। वहीं, अगर साउथ अफ्रीका और ताइवान की बात करें, तो इन देशों ने कोर्ट के आदेश पर इसे वैध माना है।

23 देशों में कानूनी मान्यता

ताइवान, अमेरिका, ब्राजील, कोलंबिया, कोस्टारिका, ऑस्ट्रिया, इक्वाडोर, मैक्सिको, ऑस्ट्रेलिया, आयरलैंड, स्विटजरलैंड, स्लोवेनिया, दक्षिण अफ्रीका आदि देशों में इसे कानूनी मान्यता प्राप्त है।

दुनिया के इन देशों में सजा का प्रावधान

नीदरलैंड ने 2001 में सबसे पहले समलैंगिक विवाह को वैध बनाया था, जबकि ताइवान पहला एशियाई देश है, जिसने समलैंगिक विवाह को वैध बनाया, लेकिन कुछ देश ऐसे भी हैं, जहां समलैंगिक विवाह को स्वीकार्यता नहीं है। इनमें से 64 देश ऐसे हैं, जहां समलैंगिक विवाह को अपराध की श्रेणी में रखा गया है और यहां सजा के तौर पर मृत्युदंड दिया जाता है।

किन देशों में समलैंगिक विवाह अवैध

कुछ देश ऐसे हैं, जहां सेम सेक्स मैरिज को अवैध माना जाता है। इन देशों में पाकिस्तान, संयुक्त अरब अमीरात, कतर, अफगानिस्तान, सोमालिया, ईरान और उत्तरी नाइजीरिया आदि देश शामिल हैं। कुछ देशों में समलैंगिक मैरिज को लेकर बेहद सख्ती है, जहां की शरिया अदालतों में सीधे मौत की सजा का प्रावधान है। वहीं अफ्रीकी देश युगांडा में सेम सेक्स मैरिज के दोषी पाए जाने पर आजीवन कारावास या फांसी की सजा तक का प्रावधान है। वहीं 30 अफ्रीकी देशों में सेम सेक्स मैरिज पर प्रतिबंध है। वहीं 71 देश ऐसे हैं, जहां जेल की सजा का प्रावधान है।

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