‘चंद्रयान 3’ की पूरी दुनिया में हो रही तारीफ, चीन ने अभियान को कमतर दिखाने की कोशिश की

भारत चंद्रमा की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग करने वाले देशों की कतार में शामिल हो गया है। बुधवार को भारत…

चंद्रयान 3

भारत चंद्रमा की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग करने वाले देशों की कतार में शामिल हो गया है। बुधवार को भारत के चंद्रयान-3 ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुवीय क्षेत्र में सफलतापूर्वक लैंडिंग कर इतिहास रच दिया, जिसकी चर्चा दुनिया भर में हो रही है। जैसे ही भारत का लैंडर विक्रम चंद्रमा की सतह पर उतरा, दुनिया भर के अखबारों ने इसे प्रमुखता से उठाया। लेकिन चीन की सत्ताधारी कम्युनिस्ट पार्टी के मुखपत्र ग्लोबल टाइम्स ने काफी समय बाद 24 अगस्त की देर रात खबर प्रकाशित की और भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रम की तुलना चीन से की और उसकी कमियां बताईं।

ग्लोबल टाइम्स ने चीन की तकनीक की तुलना भारत से की और कहा कि चीन कई मामलों में भारत से आगे है। अखबार ने बीजिंग स्थित वरिष्ठ अंतरिक्ष विशेषज्ञ पेंग झिहाओ के हवाले से कहा कि 2010 में चांग’ई-2 के लॉन्च के बाद से, चीन एक ऑर्बिटर और लैंडर को सीधे पृथ्वी-चंद्रमा स्थानांतरण कक्षा में भेजने में सक्षम है। भारत के पास यह तकनीक नहीं है क्योंकि इसकी प्रक्षेपण यान क्षमता सीमित है। चीनी तकनीक उन्नत है जिससे समय और ईंधन की बचत होती है। चीन जिस ईंधन का उपयोग करता है, वह बहुत उन्नत है।

भारत को कमतर दिखाने की कोशिश

चीनी अखबार ने एक विशेषज्ञ के हवाले से भारत को कमतर दिखाने की कोशिश की। ‘चीन का रोवर बहुत बड़ा है, जिसका वजन 140 किलोग्राम है, जबकि भारत के रोवर प्रज्ञान का वजन केवल 26 किलोग्राम है। भारत का प्रज्ञान चंद्र रात्रि को झेल नहीं सकता और चंद्रमा पर उसका जीवनकाल केवल एक दिन का है (एक चंद्र दिवस पृथ्वी के 14 दिनों के बराबर है।) इसके विपरीत, चीन के युतु-2 रोवर के पास चंद्र सतह पर सबसे लंबे मिशन का रिकॉर्ड है क्योंकि यह परमाणु ऊर्जा से लैस है, इसलिए यह लंबे समय तक काम कर सकता है।

दुनिया भर की मीडिया ने की सराहना

चंद्रयान-3 की चंद्रमा की सतह पर सफल लैंडिंग को दुनिया भर के अखबारों ने प्रमुखता से कवर किया था। सऊदी अरब, अमेरिका, ब्रिटेन, पाकिस्तान आदि देशों के अखबारों में चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग की खबरें आईं। ब्रिटेन के अखबार ‘द गार्जियन’ ने लिखा कि एक ऐतिहासिक क्षण में, भारत चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव के पास सफलतापूर्वक अपना अंतरिक्ष यान उतारने वाला पहला देश बन गया है। इस सफलता पर भारत खुशी से झूम उठा है।

पाकिस्तान के जियो न्यूज ने एक रिपोर्ट में कहा है कि भारत का चंद्रयान-3 आखिरकार चंद्रमा पर उतर गया है। जियो न्यूज ने स्पेसटेक फर्म से जुड़े विशेषज्ञ कार्ला फिलोटिको के हवाले से लिखा है कि चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर उतरकर भारत चंद्रमा पर बर्फीले पानी की खोज कर सकता है, जो चंद्र संबंधी खोजों के लिए बहुत महत्वपूर्ण है।

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